पानी, शिक्षा, सड़क और आरोग्य जैसी प्राथमिक सुविधाओं को तरसते और विकास योजनाओं की कल्पना भी ना कर सकनेवाले अनेक गॉंव इस देश ..
सोनिया से बोफोर्स की काली कमाई लाने को कहेंगे बाबा रामदेव

नई दिल्ली, काले धन के मुद्दे पर राजनीतिक समर्थन जुटाने के अभियान
में जुटे बाबा रामदेव ने बोफोर्स के मुद्दे को भी छेड़कर कांग्रेस को
और भड़का दिया है। बाबा रामदेव ने शुक्रवार को कहा कि यदि कांग्रेस
अध्यक्ष सोनिया गांधी से उनकी मुलाकात होती है तो वह उनसे बोफोर्स
समेत विदेश में जमा सारा काला धन भारत वापस लाने की बात कहेंगे।
कानून मंत्री सलमान खुर्शीद ने बाबा पर कटाक्ष किया, वह सबसे पूछ रहे
हैं कि कल से आप अपनी पत्नी को मारेंगे तो नहीं? अब कौन कहेगा कि
नहीं, वह तो मारेगा! इसी तरह वह जिसके पास भी जाएंगे उन्हें यही कहेगा
कि वह भी काले धन के खिलाफ है। इसमें नई बात क्या है? विदेश में जमा
काला धन वापस लाने के लिए रामदेव ने सभी राजनीतिक दलों के अध्यक्षों
से मिलने का समय मांगा है। खुर्शीद ने बाबा की इस कवायद को व्यर्थ और
सिर्फ अपनी अहमियत बढ़ाने का हथकंडा करार दिया।
बाबा रामदेव अब तक भाजपा, राकांपा, जद-यू और रालोद प्रमुख से मिलकर
उनका समर्थन हासिल कर चुके हैं। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से भी
रामदेव ने समय मांगा है। लेकिन, कांग्रेस के तेवरों को देखते हुए इस
भेंट की संभावना बेहद कमजोर लग रही है। वैसे भी सोनिया कांग्रेस
कार्यसमिति में बाबा रामदेव या अन्ना को कांग्रेस विरोधी तत्व बताकर
उनका सामना करने की बात कह चुकी हैं।
इससे बेफिक्र बाबा से जब पूछा गया कि क्या वह सोनिया से मिलेंगे? उनका
जवाब था, बिल्कुल। यह पूछने पर कि क्या बोफोर्स दलाली का विदेश में
जमा काला धन वापस लाने पर भी बात करेंगे, वह तपाक से बोले हां,
बोफोर्स का भी और बाकी सभी तरह का काला धन वापस लाने पर कांग्रेस
अध्यक्ष से बात करूंगा। बाबा के इस बयान पर खुर्शीद ने कहा, लोकतंत्र
में कोई कुछ भी बात कर सकता है।
Share Your View via Facebook
top trend
-
बेडगुड्डे : सामूहिक प्रयास का चमत्कार
-
“मालिकों” के विदेश दौरे के बारे में जानने का, नौकरों को कोई हक नहीं है...
यह एक सामान्य सा लोकतांत्रिक नियम है कि जब कभी कोई लोकसभा या राज्यसभा सदस्य किसी विदेश दौरे पर जाते हैं तो उन्हें संसदीय क..
-
अगर अन्ना को संघ से जोड़ें, तो क्या राहुल गाँधी को अपराधी मान लें
आर.एस.एस. को स्वघोषित परिभाषा के अनुसार सोचने वाले व्यक्तियों का एक समूह, (जो संघ का मात्र इस हेतु से प्रतिकार करता है क्य..
-
अपराधी ही नहीं, अब आतंकी भी लड़ेंगे चुनाव?
नयी दिल्ली। इंडियन मुजाहिदीन के संदिग्ध आतंकवादी जिया - उर - रहमान ने दिल्ली के न्यायालय से 2012 एमसीडी चुनाव लड़ने की अ..
-
स्वर्गीय राजीव भाई—बाबा रामदेव का स्वदेशी अभियान एवं चीन के बारे में हुआ हैरतअंगेज खुलासा
स्वर्गवासी श्री राजीव दीक्षित जीवन और..
what next
-
-
सुनहरे भारत का निर्माण करेंगे आने वाले लोक सभा चुनाव
-
वोट बैंक की राजनीति का जेहादी अवतार...
-
आध्यात्म से राजनीती तक... लेकिन भा.ज.पा ही क्यूँ?
-
अयोध्या की 84 कोसी परिक्रमा ...
-
सिद्धांत, शिष्टाचार और अवसरवादी-राजनीति
-
नक्सली हिंसा का प्रतिकार विकास से हो...
-
न्याय पाने की भाषायी आज़ादी
-
पाकिस्तानी हिन्दुओं पर मानवाधिकार मौन...
-
वैकल्पिक राजनिति की दिशा क्या हो?
-
जस्टिस आफताब आलम, तीस्ता जावेद सीतलवाड, 'सेमुअल' राजशेखर रेड्डी और NGOs के आपसी आर्थिक हित-सम्बन्ध
-
-
-
उफ़ ये बुद्धिजीवी !
-
कोई आ रहा है, वो दशकों से गोबर के ऊपर बिछाये कालीन को उठा रहा है...
-
मुज़फ्फरनगर और 'धर्मनिरपेक्षता' का ताज...
-
भारत निर्माण या भारत निर्वाण?
-
२५ मई का स्याह दिन... खून, बर्बरता और मौत का जश्न...
-
वन्देमातरम का तिरस्कार... यह हमारे स्वाभिमान पर करारा तमाचा है
-
चिट-फण्ड घोटाले पर मीडिया का पक्षपातपूर्ण रवैया
-
समय है कि भारत मिमियाने की नेहरूवादी नीति छोड चाणक्य का अनुसरण करे : चीनी घुसपैठ
-
विदेश नीति को वफादारी का औज़ार न बनाइये...
-
सेकुलरिस्म किसका? नरेन्द्र मोदी का या मनमोहन-मुलायम का?
-
Comments (Leave a Reply)